गर्भवस्था में मोटापा ........ वरदान या अभिशाप !

आज मिसेस देशमुख अपनी नई नवेली बहु को लेकर मुझसे मिलाने लाई थी , कहने लगी , जल्द जल्द से हमारे घर में किलकारियां गुजनी चाहिये I बहु भी शरमा रही थी I

बहु की हेल्थ देखकर मुझसे रहा नहीं गया , As a family Doctor में बोल पड़ी , पर बहु का मोटापा ? मिसेस देशमुख तुनक कर बोली , अरे हमारे समधी बड़े घर से है , इसीलिए बहु खाने पिने घर की बेटी है I

बहु पढ़ीलिखी थी , समझदार थी बोली जी मैडम , मुझे पता है , मेरा वजन ज्यादा है और इससे मुझे या होने वाले बच्चे को परेशानी हो सकती है I तो दोस्तों , जिस खानेपीने शरीर को हम तवज्जो देते है , वो वरदान है , या अभिशाप ? आइये जानते

है I

अगर आप गर्भवती है , उस वक्त अगर आपका Body Mass Index (BMI) अगर ३० या ३० से अधिक है तो यह मोटापे की निशानी है I

इस Condition में शरीर में चरबी की मात्रा बहुत अधिक होती है I मोटापे का (Obesity ) का आपकी प्रजनन शक्ति पर भी ( Fertility ) विपरीत परिणाम होता है जैसे की बच्चे में defect पैदा होना ( Congenital Anomalies ) , गर्भपात (Abortion ) होना , वध्यत्व ( pregnancy नहीं रुकना ) Infertility इत्यादी.

ये जो अतिरिक्त चरबी मोटापे में शरीर में होती ही उससे सूजन पैदा होती है I ( Inflammation of adipose tissue ) जिसका डायबटीज (Diabetis) तथा दिल की बीमारियों से Direct connection है I साथ ही साथ इनमे High Level of IL – 6 & C – Reactive protein ( CRP) भी पाये जाते है I .इन सबके होते हुये गर्भवस्था में माता के स्वास्थ्थ को रक्तभिसरण में काठीनाईया होती है I और खून की गुठलिया बनने की आशंका होती है , जो की पैर की नसों में या फेफड़ो में गुठली बन सकती है इससे पेशेंट की जान को धोका हो सकता है . (VTE/PE) इसके साथ ही गर्भवती महिला को Diabetes , High BP , Big Size Baby होने का भी डर होता है I प्रसुती होते समय भी काफी ज्यादा खतरा होता है , जैसे सीज़ेरियन डिलेव्हरी के ज्यादा Chance होते है , एनेस्थीशिया के Complication तथा अत्याधिक रक्तभाव होने का भी डर रह्ता है I ऐसी अवस्था में Operation के बाद टाके पकने का या टाके खुलने का डर ज्यादा होता बच्चे को दूध पिलाने में भी माँ को काफी तफलीक होती है I

मोटापा ग्रस्त प्रेगनंट महिला के लिए बड़ा B.P Cuff बड़ा Operation Table ,बड़ी Wheel – Chair बड़े डिलेव्हरी बेड लगते है जो की एक सामान्य नर्सिग होम में नहीं रहते I बच्चे पर असर - मोटी माँ को मोटा बच्चा होता , High Risk of मस्तिक के (Brain के - NTD ) Defect होता , बच्चे को पैदा होने साथ की एडमिट करने की जरुरत होना , बड़े होने के बाद ऐसे बच्चों में डायबटीज होने का और मोटापा होने का भी आशंका होती है I

कैसे Manage करे ?

• खानपान बराबर रखे , ज्यादा वसा (fat ) वाली चीजे ना खाये

• पानी ज्यादा पिये

• Exercise करे

• बच्चों को मोटा ना होने दे

• मीठा कम खाये Cake , Pastry , Cold Drink एकदम ना खाये

• अतिरिक्त मोटापा होने की स्थिति में डॉक्टर की सलाह पर मोटापा कम करने की दवाइयाँ ले

• चर्बी कम करने की शस्त्रक्रिया भी होती है ( Bariatric Surgery )

• गर्भधारणा होने से पहले ही Folic Acid Supplement ले

• Vitamin D का सेवन करे

• नियमित रूप से Sugar की जांच करवाये

ध्यान रखे , मोटापा आपके तथा आपके डॉक्टर , दोनों के लिए खतरा साबित हो सकता है I जहाँ तक बन सके , गर्भधारणा के पहले की वजन सतुलित करे